डिजिटल डेस्क। मिरर मीडिया: सरकार ने सोमवार को जानकारी दी कि वित्त वर्ष 2024-25 के पहले आठ महीनों में देशभर में 11.70 लाख से अधिक बच्चों की पहचान की गई है, जो स्कूल नहीं जा रहे हैं। लोकसभा में एक प्रश्न के उत्तर में केंद्रीय शिक्षा राज्य मंत्री जयंत चौधरी ने बताया कि इनमें सबसे अधिक संख्या उत्तर प्रदेश की है, जहां 7.84 लाख बच्चे स्कूल से बाहर हैं।
झारखंड और असम भी पीछे नहीं
शिक्षा राज्य मंत्री द्वारा साझा किए गए आंकड़ों के अनुसार, झारखंड में 65 हजार से अधिक और असम में 63 हजार से अधिक बच्चे स्कूल नहीं जा रहे हैं। यह आंकड़े चिंता का विषय हैं और राज्यों में शिक्षा व्यवस्था को लेकर सवाल खड़े करते हैं।
ग्रामीण साक्षरता दर में सुधार, महिलाओं में तेजी
पिछले दशक में ग्रामीण क्षेत्रों में साक्षरता दर में 10 प्रतिशत से अधिक का सुधार दर्ज किया गया है। मंत्री ने बताया कि 2011 में ग्रामीण भारत की साक्षरता दर 67.77 प्रतिशत थी, जो 2023-24 में बढ़कर 77.50 प्रतिशत हो गई।
महिलाओं की साक्षरता दर में बड़ी बढ़ोतरी
इस अवधि में महिलाओं की साक्षरता दर में 14.50 प्रतिशत की वृद्धि हुई है। यह 57.93 प्रतिशत से बढ़कर 70.40 प्रतिशत हो गई। वहीं, पुरुष साक्षरता दर 77.15 प्रतिशत से बढ़कर 84.7 प्रतिशत हो गई है। यह आंकड़े ग्रामीण क्षेत्रों में शिक्षा की दिशा में हो रहे सुधार को दर्शाते हैं।
एआई कोर्स में रुचि दिखा रहे छात्र
शिक्षा राज्य मंत्री जयंत चौधरी ने बताया कि शैक्षणिक सत्र 2024-25 में 4,538 स्कूलों के 7.90 लाख से अधिक छात्रों ने कक्षा 9 और 10 में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) कोर्स को चुना है।
वरिष्ठ माध्यमिक स्तर पर भी बढ़ी रुचि
कक्षा 11 और 12 में भी एआई विषय को लेकर छात्रों की रुचि बढ़ रही है। 944 स्कूलों के 50 हजार से अधिक छात्रों ने वरिष्ठ माध्यमिक स्तर पर एआई कोर्स चुना है। यह बदलाव भारत में तकनीकी शिक्षा की ओर छात्रों की बढ़ती रुचि को दर्शाता है।
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