धनबाद रेलवे सुरक्षा बल ने Operation WILEP के तहत एक सफल अभियान चलाते हुए गाड़ी संख्या 13010 (योग नगरी ऋषिकेश–हावड़ा दून एक्सप्रेस) के महिला कोच से 35 जीवित कछुओं की तस्करी का पर्दाफाश किया है। बरामद कछुओं की अनुमानित कीमत करीब ₹3,50,000 बताई जा रही है।
कैसे पकड़ी गई तस्करी?
02–03 नवंबर 2025 की रात करीब 02:45 बजे, RPF की पोस्ट स्तर पर गठित टास्क टीम प्लेटफॉर्म संख्या 01 पर गश्त कर रही थी। इसी दौरान गुप्त सूचना मिली कि दून एक्सप्रेस के गार्ड ब्रेक से सटे महिला कोच में अवैध रूप से कछुओं की ढुलाई की जा रही है।
सूचना के बाद जब महिला कोच की तलाशी ली गई तो सीट के नीचे तीन कपड़े के बैग मिले। बैग के संबंध में सभी महिला यात्रियों से पूछताछ की गई, पर किसी ने भी अपना दावा नहीं किया। संदेह गहराने पर बैग खोले गए तो उनमें जूट के बोरे में छिपाकर रखे गए 35 जीवित कछुए पाए गए।
🐢 बरामद जीवों का संरक्षण एवं आगे की कार्रवाई
कछुओं को 03:15 बजे औपचारिक जब्ती सूची बनाते हुए जब्त किया गया और पोस्ट पर लाया गया। बाद में वन विभाग की टीम पोस्ट पर पहुंची और सभी कछुओं को आगे की प्रक्रिया हेतु वन क्षेत्र पदाधिकारी, धनबाद के हवाले किया गया।
यह सभी कछुए Indian Flapshell (Lissemys Punctata) प्रजाति के हैं, जिन्हें वन्य जीव संरक्षण अधिनियम 1972 के तहत संरक्षण प्राप्त है।
❗ तस्कर कौन?
📌 कछुए लावारिस/अज्ञात कब्जाधारी से बरामद हुए हैं।
🔹 तस्करी में शामिल आरोपी की पहचान और नेटवर्क की तलाश जारी है।
👮 सफल अभियान में शामिल RPF टीम
1️⃣ पालिक मिंज
2️⃣ जीवलाल राम
3️⃣ बबुलेश कुमार
4️⃣ सतेन्द्र कुमार प्रसाद
5️⃣ परविंद कुमार
6️⃣ विवेक कुमार
7️⃣ अनिल कुमार

