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JSSC CGL परीक्षा – पेपर लीक रोकने के लिए इंटरनेट बंद किए जाने के निर्णय को बाबूलाल मरांडी ने बताया अव्यवहारिक और हास्यास्पद

झारखण्ड की हेमंत सरकार ने जेएसएससी की सीजीएल परीक्षा (JSSC CGL Exam) के दौरान पेपर लीक रोकने के लिए पूरे झारखंड राज्य में पांच घंटे इंटरनेट सेवा पर रोक लगा दी है। लिहाजा इंटरनेट सेवा 21 और 22 सितंबर को सुबह 8 से दोपहर 1:30 बजे तक निलंबित रहेंगी।

इस दौरान पेपर लीक और चीटिंग रोकने के मकसद से झारखंड सरकार के गृह विभाग ने सभी मोबाइल ऑपरेटिंग कंपनियों को इंटरनट कट करने का निर्देश दिया है। इसके तहत पूरे राज्य में शनिवार और रविवार को सुबह 8:30 बजे से दोपहर डेढ़ बजे तक इंटरनेट सेवा बंद रहेगी।

हालांकि यहां सवाल यह उठता है कि क्या इंटरनेट बंद होने से पेपर लीक नहीं होगा? जवाब चाहे जों भी हो पर इंटरनेट बंद करने से आम लोगों की मुश्किलें इससे जरूर बढ़ जाएंगी। वे सामान खरीदने पर यूपीआई पेमेंट नहीं कर पाएंगे, कहीं आने-जाने के लिए ओला-ऊबर जैसी कैब सेवा नहीं पाएंगे और घर पर रहें तो मनोरंजन के लिए ओटीटी प्लैटफॉर्म्स पर कोई शो भी नहीं देख पाएंगे. यहां तक कि अपने नाते-रिश्तेदारों से वॉट्सऐप के जरिये बात भी नहीं कर पाएंगे।

हालांकि हेमंत सोरेन ने अधिकारियों से बातचीत के बाद कहा कि किसी भी सूरत में लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। सीएम सोरेन ने कहा, ‘अगर कोई भी परीक्षा के दौरान गलती से भी कुछ गलत करने की कोशिश करेगा तो हम उसके साथ सख्ती से निपटेंगे।

इधर भाजपा झारखंड प्रदेश अध्यक्ष बाबूलाल मरांडी ने भी JSSC CGL परीक्षा का पेपर लीक रोकने के नाम पर इंटरनेट बंदी के बेतुके और असंवैधानिक तुगलकी फरमान को अविलंब वापस लेने की मांग करते हुए इस निर्णय को अव्यवहारिक और हास्यास्पद बताया है। उन्होंन सोशल मीडिया X पर लिखा है…

हेमंत सरकार द्वारा झारखंड में दो दिनों शुबह से दोपहर इंटरनेट बंद किए जाने का निर्णय अव्यवहारिक और हास्यास्पद है।

हेमंत जी, JSSC CGL परीक्षा की परीक्षा देने के लिए कई राज्यों के अभ्यर्थी शामिल हो रहे हैं। इंटरनेट बंद कर देने के फैसले दूसरे राज्यों से आए अभ्यर्थियों को कठिनाई का सामना करना पड़ रहा है।

इंटरनेट हमारी दैनिक दिनचर्या का अभिन्न हिस्सा बन चुका है। बच्चों की पढ़ाई लिखाई से लेकर बैंकिंग कार्यों तक, सरकारी दफ्तरों से लेकर गांवों के प्रज्ञा केंद्रों तक…स्कूल, कचहरी, अस्पताल, मकान, दुकान… सड़क यातायात…रेल सेवा… हवाई सेवा…इंटरनेट हर जगह की जरूरत बन चुका है। आपके द्वारा इंटरनेट बंद किए जाने के निर्णय से आम जनजीवन अस्त व्यस्त हो गया है। लोगों के काम-धंधे प्रभावित हो रहे हैं, राज्य की अर्थव्यवस्था चरमरा सकती है…

हेमंत जी, सिर्फ इंटरनेट पर ही पाबंदी क्यों लगा रहे हैं? लोगों के घरों से बाहर निकलने पर ही पाबंदी लगा दीजिए। बाजार बंद करा दीजिए। कर्फ्यू की घोषणा कर दीजिए…

अपनी नाकामियों को छुपाने के लिए बिना पूर्व सूचना के अचानक से देर रात इंटरनेट बंद करने का मूर्खतापूर्ण फैसला वापस लीजिए। जनता समझ चुकी है कि आपके पास कदाचारमुक्त परीक्षा कराए जाने की क्षमता ही नहीं है।

याद रखिए, जिन सलाहकारों की वजह से आप 5 माह के होटवार प्रवास से वापस आए हैं, वही सलाहकार आपको जगहंसाई का पात्र बनाने और आपसे एक के बाद तुग़लकी फ़ैसले करवा कर आपको रसातल में पंहुचाने पर तुले हुए हैं।

आपसे अनुरोध है कि JSSC CGL परीक्षा का पेपर लीक रोकने के नाम पर इंटरनेट बंदी के बेतुके और असंवैधानिक तुगलकी फरमान को अविलंब वापस लीजिए।

गौरतलब है कि झारखण्ड राज्य में JGGLCCE की परीक्षा सुबह 8:30 बजे से अपराह्न 5 बजे तक 3 पालियों में चलेगी। परीक्षा 3 पालियों में सुबह 8:30 बजे से अपराह्न 5 बजे तक चलेगी। 2025 पदों पर निकली इस वैकेंसी के लिए राज्यभर में 823 केंद्रों पर परीक्षा आयोजित कराई जा रही है। बता दें कि 2025 पदों के लिए करीब 6.39 लाख अभ्यर्थी परीक्षा दे रहे हैं।

KK Sagar
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