नई दिल्ली। अंडमान सागर में सोमवार को भूकंप के तेज झटके महसूस किए गए। रिक्टर पैमाने पर इसकी तीव्रता 4.4 मापी गई, जबकि इसकी गहराई 75 किलोमीटर थी। हालाँकि, अब तक किसी भी तरह की जनहानि या नुकसान की सूचना नहीं मिली है।
इससे पहले बंगाल की खाड़ी में 4.8 तीव्रता का भूकंप दर्ज किया गया था। विशेषज्ञों के अनुसार, अंडमान और निकोबार द्वीप समूह एक भूकंपीय रूप से सक्रिय क्षेत्र है, जहां टेक्टोनिक प्लेटों की हलचल के कारण बार-बार भूकंप आते रहते हैं।
भारत में भूकंप का खतरा
भारत भूकंप की दृष्टि से संवेदनशील देशों में से एक है। खासतौर पर हिमालय क्षेत्र, जहां भारतीय प्लेट और यूरेशियन प्लेट के टकराव के कारण बार-बार भूगर्भीय हलचलें होती हैं। यही वजह है कि उत्तराखंड, हिमाचल प्रदेश, जम्मू-कश्मीर और पूर्वोत्तर भारत भूकंप-प्रभावित क्षेत्र माने जाते हैं।
भूवैज्ञानिकों के अनुसार, भूकंप से बचाव के लिए भूकंपीय सुरक्षा मानकों का पालन करना और सतर्कता बनाए रखना बेहद जरूरी है। सरकार और आपदा प्रबंधन एजेंसियां लगातार जागरूकता अभियान चला रही हैं ताकि किसी भी आपात स्थिति में नुकसान को कम किया जा सके।