डिजिटल डेस्क। मिरर मीडिया: पाकिस्तान में आतंकवाद का कहर लगातार बढ़ता जा रहा है। शुक्रवार को अफगानिस्तान की सीमा के करीब एक बड़ी घटना में तालिबान आतंकियों ने दस पुलिसकर्मियों की गोली मारकर हत्या कर दी। इसके अलावा, सात अन्य पुलिसकर्मी इस हमले में गंभीर रूप से घायल हो गए। पुलिस सूत्रों ने इस घटना की जानकारी दी, जिससे पूरे क्षेत्र में भय और आतंक का माहौल है।
टीटीपी ने ली हमले की जिम्मेदारी
गुरुवार को हुए इस हमले की जिम्मेदारी इस्लामी आतंकवादी संगठन तहरीक-ए-तालिबान पाकिस्तान (टीटीपी) ने अपने बयान में ली है। टीटीपी का कहना है कि यह हमला उनके वरिष्ठ नेता उस्ताद कुरैशी की हत्या का बदला है। टीटीपी ने यह भी कहा कि उनके लिए यह हमला महत्वपूर्ण था क्योंकि उन्हें अफगानिस्तान के बाजौर जिले में किए गए अभियान में उनके कई सदस्यों की हत्या का बदला लेना था।
खैबर पख्तूनख्वा के मुख्यमंत्री ने की हमले की निंदा
खैबर पख्तूनख्वा प्रांत के मुख्यमंत्री अली अमीन खान गंडापुर ने इस हमले की निंदा करते हुए बयान जारी किया। हालांकि, उन्होंने मारे गए पुलिसकर्मियों की संख्या नहीं बताई। मुख्यमंत्री ने कहा कि पाकिस्तान में आतंकवाद के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी और अपराधियों को बख्शा नहीं जाएगा।
पाकिस्तानी सेना का बयान
पाकिस्तानी सेना ने गुरुवार को एक बयान में कहा कि बाजौर जिले में खुफिया जानकारी पर आधारित एक अभियान में कुरैशी सहित नौ लोगों की मौत हुई थी, जिसमें दो आत्मघाती हमलावर भी शामिल थे। सेना ने यह भी आरोप लगाया कि टीटीपी ने अफगानिस्तान को सुरक्षित पनाहगाह के रूप में इस्तेमाल किया है, जहां से वे पाकिस्तानी क्षेत्र में आतंकवादी गतिविधियों को अंजाम देते हैं।
पाकिस्तान में बढ़ा आतंकवादी हमला
2021 में अफगानिस्तान में तालिबान के सत्ता में लौटने के बाद से पाकिस्तान में तालिबानी हमलों की घटनाओं में इजाफा हुआ है। खासकर सुरक्षा बलों को लगातार निशाना बनाया जा रहा है। इससे पहले अगस्त में भी पंजाब प्रांत में एक बड़े हमले में आतंकवादियों ने पुलिस टीम पर रॉकेट से हमला किया था, जिसमें 11 पुलिसकर्मी मारे गए थे।
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