बिहार विधान मंडल का मानसून सत्र चल रहा है। मानसून सत्र का आज तीसरा दिन है। पिछले दो दिनों से विपक्षी नेता काले कपड़े पहनकर राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन की सरकार के खिलाफ अपना विरोध जता रहे हैं। आज तीसरे दिन भी विपक्ष के विधायक काले कपड़े में पहुंचे। वहीं, विधानसभा के मेन गेट पर विधायकों ने जमकर प्रदर्शन किया। इस दौरान विधायकों और मार्शल के बीच धक्का-मुक्की भी हुई। नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव सहित कई विधायक काला कपड़ा पहनकर प्रदर्शन कर रहे थे।

राजद, कांग्रेस और वामदल के विधायक आज भी काले लिबास में आए और एसआईआर के मुद्दे पर प्रदर्शन करने लगे। विपक्ष के विधायक एसआईआर वापस लेने की मांग कर रहे। विधायकों ने मेन गेट को जाम कर दिया। इसके बाद सीएम नीतीश, डिप्टी सीएम सम्राट चौधरी समेत एनडीए के सभी विधायक दूसरे गेट से सदन में गए। इसी बीच मार्शल और विपक्ष के विधायकों के बीच धक्का मुक्की भी भी हुई। राजद विधायक भाई वीरेंद्र ने कहा कि नीतीश सरकार विपक्ष की आवाज को दबाना चाहती है।
चुनाव आयोग से पूछा सवाल
इधर, सदन के अंदर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और आरजेडी नेता तेजस्वी यादव भिड़ गए। तेजस्वी यादव का कहना था कि सदन के अंदर एसआईआर पर चर्चा होनी चाहिए। उन्होंने यह भी कहा कि वे एसआईआर का विरोध नहीं कर रहे हैं लेकिन जो प्रक्रिया चुनाव आयोग अपना रहा है वो सही नहीं है। इसलिए वे इसका विरोध कर रहे हैं। इतना बड़ा ड्राइव चल रहा है लेकिन अब तक चुनाव आयोग ने इस मुद्दे पर प्रेस वार्ता नहीं की है। अगर आपको एसआईआर करवाना ही था तो आप लोकसभा के बाद इसको शुरू कराते। इसे आप फरवरी में करवाते। बीएलओ किसी तरह काम कर रहे हैं। बिहार डॉक्यूमेंट के मामले में फिसड्डी राज्य है। फिर भी 11 डॉक्यूमेंट मांगे गए। आधार कार्ड और राशन कार्ड को मान्य नहीं किया गया। इसके बाद सुप्रीम कोर्ट ने चुनाव आयोग फटकार लगाई और आधार कार्ड को मान्यता देने की सलाह दी। तेजस्वी ने पूछा कि चुनाव आयोग कौन होता है नागरिकता देने वाला।
तेजस्वी पर भड़के नीतीश
जवाब में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने भी हमला बोला। उन्होंने आरजेडी पर निशाना साधते हुए कहा कि उन्होंने मुसलमानों के लिए क्या किया। तेजस्वी यादव को उन्होंने बच्चा बताया और कहा कि उन्हें उस समय के हालात की जानकारी नहीं है। तेजस्वी यादव पर निशाना साधते हुए नीतीश कुमार ने कहा कि तुम तो बच्चा थे, तुमको पता भी है। पटना में शाम में कोई बाहर नहीं निकलता था। तुम तो बच्चा न थे जी, तुमको थोड़े पता होगा। तुम्हारे माता और पिता भी मुख्यमंत्री रहे लेकिन एक भी काम नहीं किया। अब यह सब बातें बोलने का क्या मतलब है? पहले का क्या बजट था? अब तो तीन लाख करोड़ से ज्यादा बजट हमलोगों ने कर दिया है। अब मामला है कि चुनाव लड़ना है तो जितना अंड बंड बोलना है बोलते रहिए।