झरखंड: जिले में कोयला तस्करो का दबदबा लगातार बढ़ता जा रहा है। हाल ही में विशेष शाखा ने अपनी रिपोर्ट में बाघमारा के 50 तस्करों की पहचान की है जो डंके की चोट पर कोयले का अवैध खनन करा रहे हैं। विशेष शाखा ने सरकार के अलावा धनबाद के उपायुक्त और वरीय पुलिस अधीक्षक को भी इस संदर्भ में रिपोर्ट दी है। इसमें तस्करों के नाम भी क्षेत्रवार दिए हैं जो बीसीसीएल की खदानों से अवैध खनन के माध्यम से कोयला निकाल तस्करी कर रहे हैं।
कोयले की सुरक्षा का जिम्मा बीसीसीएल के आंतरिक सुरक्षा बल के साथ सीआइएसएफ व पुलिस पर है। इसके बाद भी त्रिस्तरीय सुरक्षा घेरा के बाद भी धड़ले से कोयला चोरी का काम जारी है ।
इस रिपोर्ट में बताया गया है कि अवैध खनन से महुदा बोकारो रेल लाइन को खतरा उत्पन्न हो गया है। वह इसलिए कि मछियारा रेलवे फाटक के पास मुहाना बनाकर रेल लाइन के नीचे खनन कर कोयला निकाला जा रहा है। इस रेल लाइन से ट्रेन परिचालन भी होता है।
रिपोर्ट में आगे बताया गया है कि तस्कर अवैध खनन कर कोयला जंगलों में जमा करते हैं। वहां से रात में ट्रकों पर लादकर गोविंदपुर, निरसा के भट्ठों में भेजते हैं। वहां से फर्जी कागजों के सहारे बिहार, बंगाल व उत्तर प्रदेश भेजा जाता है। रोज करीब तीन सौ ट्रक कोयला बाघमारा से तस्करी हो रही है। इस काले धंधे में बाघमारा क्षेत्र के कई कोयला तस्करों के नाम शामिल हैं।
वहीं बाघमारा विधायक ढुलू महतो ने सदन में कोयला तस्करी के खिलाफ आवाज उठाते हुए कहा कि धनबाद में अवैध माइनिंग में बड़ी संख्या में आदिवासियों की जान जा रही है। अबतक कितनी जानें गई है, इसकी स्वतंत्र एजेंसी से जांच कराई जाए।