बिहार में इस साल होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले राज्य में सियासी घटनाक्रम तेजी से करवट ले रहे हैं। अब चुनाव से पहले भोजपुरी सिनेमा के पावर स्टार पवन सिंह और भाजपा नेता एवं पूर्व केंद्रीय मंत्री आरके सिंह की मुलाकात ने राजनीतिक गलियारों में हलचल तेज कर दी है। दिल्ली से भोजपुरी सिने स्टार पवन सिंह और पूर्व केंद्रीय मंत्री आरके सिंह के बीच मुलाकात की कई तस्वीरें सामने आई हैं। इस मुलाकात ने बिहार की सियासत में नई चर्चाओं को जन्म दिया है।

पूर्व केंद्रीय मंत्री आरके सिंह से मुलाकात की तस्वीर खुद सिने स्टार पवन सिंह ने अपने इंस्ट्राग्राम पर पोस्ट किया है। पवन सिंह ने सोशल मीडिया पर तस्वीर साझा करते हुए लिखा, एक नई सोच के साथ आरके सिंह जी से एक नई मुलाकात! अब कयास लगाए जा रहे हैं कि बिहार की राजनीति में क्या कुछ नया होने वाला है?
*क्यों चर्चा में है ये मुलाकात*
तस्वीरों में पवन सिंह और आरके सिंह को अलग-अलग जगहों पर बातचीत करते हुए देखा जा सकता है। दोनों नेताओं की नजदीकी चर्चा में इसलिए भी है क्योंकि लोकसभा चुनाव 2024 में पवन सिंह ने भाजपा से बगावत कर काराकाट से निर्दलीय मैदान में उतरकर दूसरी पोजीशन हासिल की थी। भाजपा ने उन्हें पश्चिम बंगाल की आसनसोल सीट से टिकट दिया था, लेकिन पवन सिंह ने इसे ठुकरा दिया और बिहार में चुनाव लड़ना चुना। इस फैसले से भाजपा को करारा झटका लगा था। सिने स्टार के निर्दलीय चुनाव लड़ने के कारण पूरे शाहाबाद पर इसका काफी बुरा प्रभाव पड़ा था। भाजपा चारों सीट हार गई थी।
*चुनाव से पहले पुराने विवाद को सुलझाने की कोशिश?*
पूर्व केंद्रीय मंत्री आरके सिंह ने 2024 लोकसभा चुनाव में आरा सीट से हार का सामना किया था। उन्होंने दावा किया था कि पवन सिंह को बीजेपी के कुछ नेताओं ने पैसे देकर काराकाट से चुनाव लड़वाया, जिससे उनकी हार हुई। इस मुलाकात को आरके सिंह और पवन सिंह के बीच पुराने विवाद को सुलझाने की कोशिश के रूप में भी देखा जा रहा है। अब सवाल यह है कि क्या दोनों नेताओं के बीच सुलह का संकेत है?
*क्या कह रहे जानकार?*
सूत्रों के मुताबिक, दोनों के बीच बंद कमरे में पांच मिनट की खास बातचीत भी हुई। भले ही बातचीत की पूरी डिटेल सामने नहीं आई हो, लेकिन इस मुलाकात के बाद सोशल मीडिया पर कयासबाजी शुरू हो गई है। जानकार मान रहे हैं कि यह मुलाकात महज औपचारिक नहीं, बल्कि आने वाले दिनों में बड़े राजनीतिक समीकरण का संकेत हो सकती है। राजनीतिक विश्लेषकों का कहना है कि शाहाबाद में पवन सिंह ने एनडीए को जिस तरह करारी शिकस्त दी, उससे उनके राजनीतिक कद में अचानक इजाफा हुआ है। ऐसे में उनका आर.के. सिंह से मिलना यह संदेश दे रहा है कि वे राजनीति की गहरी बिसात बिछा रहे हैं। भोजपुरी सुपर स्टार पवन सिंह अब तक फिल्मों और मंच से जनता का दिल जीतते रहे हैं, लेकिन अब उनकी राजनीतिक सक्रियता और लगातार बढ़ती लोकप्रियता, उन्हें बड़े सियासी किरदार के रूप में स्थापित कर रही है।