मिरर मीडिया : झारखण्ड प्राइवेट स्कूल एसोसिएशन, रांची ने धनबाद उपायुक्त सह जिला प्रारंभिक शिक्षा समिति धनबाद को पुनः 34 निजी विद्यालयों को आरटीई के प्रावधानों के तहत दी गई मान्यता की जांच के संबंध में स्मरण पत्र सौंपा है। आपको बता दें कि पत्र के माध्यम से पुनः ध्यानाकृष्ट कराया गया है कि निशुल्क एवं अनिवार्य बाल शिक्षा का अधिकार प्रथम संशोधन अधिनियम 2019 के प्रावधानों के तहत जिला शिक्षा अधीक्षक सह सचिव जिला प्रारंभिक शिक्षा समिति धनबाद के द्वारा तथ्यों एवं दस्तावेजों को छुपाते हुए जिले के 34 निजी एवं पब्लिक स्कूलों को कक्षा 1 से 8 तक आरटीई के प्रावधानों के विरुद्ध जिला प्रारंभिक शिक्षा समिति से प्रस्ताव का अनुमोदन कराते हुए मान्यता दिलाई गई है। वहीं जिला प्रारंभिक शिक्षा समिति का गठन भी अपूर्ण तथा नियम विरुद्ध है जो कि जांच का विषय है।
पत्र के माध्यम से झारखंड प्राइवेट स्कूल एसोसिएशन ने बताया है कि सभी 34 विद्यालयों भी नियमावली के तहत मान्यता की अहर्ता पूर्ण नहीं करते हैं वहीं जिला प्रारंभिक शिक्षा समिति का गठन भी गैरकानूनी है इसलिए पूरी कार्रवाई तथा मान्यता के बिंदु पर प्रतिवेदन के विरुद्ध जांच हेतु भारत सरकार व स्कूल शिक्षा एवं साक्षरता विभाग, रांची को भी पूर्व में शिकायत पत्र प्रेषित किया गया है इस क्रम में बड़ा सरकार के शिक्षा मंत्रालय द्वारा शिकायत के आलोक में पूरे मामले की जांच हेतु स्कूली शिक्षा और साक्षरता विभाग रांची झारखंड को पत्र भेजते हुए आवश्यक कार्यवाही करने को कहा है और इस मामले में जिला शिक्षा कार्यालय से जवाब भी मांगा गया था।
जानकारी दें दें कि राज्य सरकार के द्वारा 16 फरवरी 2021 को जारी आदेश के आलोक में आरटीई के प्रावधानों के तहत मान्यता हेतु सभी जिला के निजी विद्यालयों को सीधे-सीधे विभाग के द्वारा निर्गत ऑनलाइन पोर्टल पर आवश्यक सभी दस्तावेज प्रेषित करना था परंतु इस आदेश का उल्लंघन करते हुए उसके बाद पुनः 1 मार्च को धनबाद जिले में एक बैठक दिखाकर इन विद्यालयों को जल्दबाजी में मान्यता दी गई। इसके साथ ही विद्यालयों की मान्यता के संबंध में जानकारी एवं आवश्यक दस्तावेजों को जानबूझकर प्रावधानों की गलत जानकारी देते हुए संबंधित सूचना एवं दस्तावेज उपलब्ध कराने से स्पष्ट रूप से इंकार कर दिया गया।
हालांकि इस संबंध में संबंधित विभाग को 24-8-2021 को पत्र के माध्यम से सूचित और अवगत कराया गया था। अतः पुनः स्मरण आवेदन के माध्यम से अनुरोध किया जा रहा है कि धनबाद जिले में आरटीई के तहत जिन 34 निजी विद्यालय को मान्यता संबंधी पत्र जिला शिक्षा अधीक्षक धनबाद के द्वारा निर्गत की गई है उन सभी विद्यालयों से संबंधित दस्तावेज संचिका का राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग नई दिल्ली द्वारा उच्च स्तरीय जांच कमेटी का गठन कर जांच कराई जाए तथा दोषी पदाधिकारियों के विरुद्ध नियमानुसार कार्यवाही की जाए तथा नियम व निजी विद्यालयों को निर्गत मान्यता संबंधी प्रमाण पत्र को भी रद्द किया जाए।