डिजिटल डेस्क। मिरर मीडिया: उत्तराखंड में समान नागरिक संहिता (UCC) लागू हो चुकी है। इसके तहत बनाए गए नियमों के अनुसार विवाह, विवाह-विच्छेद और वसीयत के पंजीकरण की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। बुधवार तक कुल 278 पंजीकरण किए जा चुके हैं, जिनमें से 19 को पहले स्तर की स्वीकृति प्राप्त हो चुकी है। शासन ने आईटीडीए को निर्देश दिया है कि पंजीकरण की जानकारी लगातार शासन तक पहुंचाई जाए, ताकि इसके क्रियान्वयन में कोई बाधा न आए।
चार स्तरों पर होगी पंजीकरण प्रक्रिया
प्रदेश सरकार ने समान नागरिक संहिता के अंतर्गत पंजीकरण के लिए चार स्तरों की व्यवस्था की है—
1. ग्राम स्तर– ग्राम पंचायत विकास अधिकारी को उप रजिस्ट्रार और एसडीएम को रजिस्ट्रार नियुक्त किया गया है।
2. नगर पंचायत व नगर पालिका – अधिशासी अधिकारी को सब रजिस्ट्रार और एसडीएम को रजिस्ट्रार बनाया गया है।
3.नगर निगम – कर अधीक्षक को सब रजिस्ट्रार और नगर आयुक्त को रजिस्ट्रार नियुक्त किया गया है।
4. कैंट क्षेत्र – मुख्य अधिशासी अधिकारी को रजिस्ट्रार और उनके द्वारा नामित अधिकारी को सब रजिस्ट्रार बनाया गया है।
लिव-इन संबंधी आवेदन सीधे रजिस्ट्रार के पास
नए नियमों के तहत लिव-इन रिलेशनशिप को छोड़कर अन्य सभी आवेदन सब रजिस्ट्रार के पास जमा किए जाएंगे। लिव-इन पंजीकरण के आवेदन सीधे रजिस्ट्रार द्वारा देखे जाएंगे।
ऑनलाइन आवेदन की सुविधा
समान नागरिक संहिता के अंतर्गत ऑनलाइन आवेदन की भी सुविधा दी गई है। इसके लिए कॉमन सर्विस सेंटर (CSC)को अधिकृत किया गया है। इच्छुक आवेदक यूसीसी की आधिकारिक वेबसाइट के माध्यम से भी आवेदन कर सकते हैं।
278 लोगों ने कराया पंजीकरण
प्रदेश के गृह सचिव शैलेश बगौली ने जानकारी दी कि अब तक 278 व्यक्ति समान नागरिक संहिता के विभिन्न प्रविधानों के अंतर्गत पंजीकरण करा चुके है। सरकार इस प्रक्रिया को सुगम और पारदर्शी बनाने के लिए लगातार सुधार कर रही है।