प्रसिद्ध भारतीय मूर्तिकार और स्टैच्यू ऑफ यूनिटी के डिजाइनर राम वंजी सुतार का निधन हो गया है। वे 100 वर्ष के थे और लंबे समय से वृद्धावस्था से जुड़ी स्वास्थ्य समस्याओं से जूझ रहे थे। परिवार की ओर से उनके निधन की पुष्टि की गई है।
📍 स्थान: नोएडा (निवास स्थान)
🗓️ समय: 17 दिसंबर की देर रात
🧑🦳 आयु: लगभग 100 वर्ष
उनके निधन की सूचना उनके पुत्र अनिल सुतार ने दी। उनके निधन से देश के कला और संस्कृति जगत में शोक की लहर दौड़ गई है।
राम सुतार कौन थे?
राम सुतार भारत के सबसे प्रतिष्ठित और सम्मानित मूर्तिकारों में गिने जाते थे। उनका जन्म महाराष्ट्र के धुले जिले के गोंदूर गांव में हुआ था। उन्होंने श्री जे.जे. स्कूल ऑफ आर्ट, मुंबई से कला की औपचारिक शिक्षा प्राप्त की।
राम सुतार ऐसे महान कलाकार थे जिन्होंने अपने शिल्प के माध्यम से भारत के इतिहास, संस्कृति और महापुरुषों को अमर रूप दिया।
🗿 कला जगत में अतुलनीय योगदान
स्टैच्यू ऑफ यूनिटी — सरदार वल्लभभाई पटेल की 182 मीटर ऊँची प्रतिमा, जो दुनिया की सबसे ऊँची प्रतिमा है
महात्मा गांधी की प्रतिमाएँ — संसद भवन सहित देश-विदेश में स्थापित
अन्य प्रमुख कृतियाँ:
छत्रपति शिवाजी महाराज की प्रतिमाएँ
बाबा साहेब भीमराव अंबेडकर की मूर्तियाँ
राजर्षि शाहू महाराज, जवाहरलाल नेहरू, इंदिरा गांधी सहित कई महान व्यक्तित्वों की प्रतिमाएँ
अपने लंबे करियर में उन्होंने 8,000 से अधिक मूर्तियों और कलाकृतियों का निर्माण किया, जिनकी पहचान भारत ही नहीं, बल्कि पूरी दुनिया में है।
🏅 सम्मान और पुरस्कार
राम सुतार को उनके अद्वितीय कला योगदान के लिए कई प्रतिष्ठित सम्मानों से नवाजा गया, जिनमें प्रमुख हैं:
पद्म श्री — 1999
पद्म भूषण — 2016
टैगोर कल्चरल अवॉर्ड
महाराष्ट्र भूषण — 2025

