बोकारो: झारखंड की बोकारो विधानसभा सीट से बीजेपी विधायक श्वेता सिंह एक बड़े विवाद में घिरती नजर आ रही हैं। उनके नाम दो पैन कार्ड और तीन वोटर आईडी कार्ड होने का मामला सामने आया है, जिनमें दर्ज विवरणों में गंभीर विसंगतियां पाई गई हैं।
सूत्रों के अनुसार, श्वेता सिंह के नाम दो पैन कार्ड दर्ज हैं—एक (CWTPS5392A) जिसमें पिता का नाम दिनेश कुमार सिंह है, और दूसरा (CECPS8218E), जिसमें पिता का नाम संग्राम सिंह लिखा है। गौर करने वाली बात यह है कि संग्राम सिंह को श्वेता सिंह ने अपने चुनावी शपथ पत्र में ‘पति’ के रूप में उल्लेख किया है, जबकि उस पैन कार्ड में वह ‘पिता’ के रूप में दर्ज हैं। दोनों कार्डों में जन्मतिथि समान—19 जून 1984—अंकित है, लेकिन नाम की स्पेलिंग में भी अंतर है। एक में SHWETA SINGH और दूसरे में SHWETTAA SINGH लिखा गया है।

विवाद यहीं खत्म नहीं होता। श्वेता सिंह के नाम से तीन अलग-अलग वोटर आईडी कार्ड सामने आए हैं।
- बोकारो विधानसभा क्षेत्र से जारी कार्ड में पति का नाम संग्राम सिंह दर्ज है, उम्र 39 वर्ष है।
- बिहार के झाझा विधानसभा क्षेत्र (जमुई जिला) से जारी वोटर कार्ड में पिता का नाम दिनेश कुमार सिंह लिखा है और उम्र 43 वर्ष बताई गई है।
- एक अन्य आईडी में ‘डॉ. संग्राम सिंह’ का उल्लेख अभिभावक के रूप में है।
आयकर अधिनियम के अनुसार, पैन कार्ड में केवल पिता का नाम ही दर्ज किया जा सकता है, पति का नहीं। पैन कार्ड बनाने के फॉर्म में भी पति के नाम का कोई कॉलम नहीं होता है। ऐसे में यह मामला जांच के दायरे में आ गया है।

इस पूरे विवाद पर बोकारो से पूर्व भाजपा विधायक बिरंचि नारायण ने तीखी प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने इसे गंभीर अपराध बताते हुए कहा, “संवैधानिक पद पर बैठा व्यक्ति अगर दो पैन और तीन वोटर कार्ड बनवाता है, तो यह कानून के साथ खिलवाड़ है। 2019 में भी इसपर शिकायत की गई थी, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई। यदि विधायक को इसकी जानकारी थी, तब यह उनकी मंशा पर भी सवाल खड़ा करता है।”
उन्होंने यह भी कहा कि मामले को उचित मंच पर उठाया जाएगा और जांच की मांग की जाएगी।