केन्द्रीय मंत्री चिराग पासवान इस साल बिहार में होने वाले विधानसभा चुनाव में किस्मत आजमा सकते हैं। केन्द्र की नरेन्द्र मोदी कैबिनेट के मंत्री चिराग ने एक बार फिर इसको लेकर बड़ी बात कही है। चिराग ने कहा कि मेरे विधानसभा चुनाव लड़ने का प्रस्ताव पार्टी की तरफ से आया है, इस पर अभी विस्तार से चर्चा होगी। एलजेपी नेता के इस बयान से साफ है कि उन्होंने विधानसभा चुनाव लड़ने से इनकार नहीं किया है।

पार्टी की राय कर इंतजार
चिराग पासवान ने दिल्ली में पत्रकारों से बातचीत में कहा, मैं पहले ही कह चुका हूं कि पार्टी की जो राय होगी उसका मैं जरूर पालन करूंगा। फिलहाल इस पर और चर्चा होनी बाकी है। पत्रकारों ने सवाल किया कि आपकी पार्टी ने यह भी फैसला किया है कि आप जनरल सीट से चुनाव लड़ेंगे। इस पर चिराग पासवान ने कहा, यह प्रस्ताव पार्टी की तरफ से आया है।
पटना में पोस्टरबाजी
बता दें कि चिराग पासवान के विधानसभा चुनाव लड़ने की चर्चा के बाद बिहार का सियासी पारा चढ़ गया है। पटना में चिराग को लेकर पोस्टरबाजी भी शुरू हो गई है। राजधानी पटना और शेखपुरा में चिराग के स्वागत में पोस्टर लगाए गए, जिसमें उन्हें ‘बिहार का भविष्य’ बताया गया है। पटना की सड़कों पर लगे पोस्टर में लिखा है- मैं चिराग जी हूं, 169 शेखपुर विधानसभा आपका इंतजार कर रही है। लोक जनशक्ति पार्टी के शेखपुरा जिला अध्यक्ष इमाम गजाली द्वारा पटना में बनाए गए एक पोस्टर में पासवान से शेखपुरा से चुनाव लड़ने का आग्रह किया गया है।
अरुण भारती ने शेयर किया था पोस्ट
इससे पहले चिराग पासवान के बहनोई अरुण भारती के एक पोस्ट ने सियासी हलचल को बढ़ा दिया था। उन्होंने यहां तक कह दिया कि चिराग को किसी सामान्य सीट से चुनाव लड़ना चाहिए। चिराग पासवान के बहनोई और जमुई से सांसद अरुण भारती ने कहा कि हमारे राष्ट्रीय अध्यक्ष चिराग पासवान हमेशा कहते हैं कि उनकी राजनीति बिहार केंद्रित है और उनका विजन “बिहार फर्स्ट, बिहारी फर्स्ट” एक विकसित और आत्मनिर्भर बिहार का संकल्प है। अरुण भारती ने कहा कि जब मैं प्रदेश प्रभारी के रूप में गांव-गांव गया, हर जगह लोगों की एक ही मांग थी कि चिराग जी को अब बिहार में बड़ी भूमिका निभानी चाहिए। हाल ही में पार्टी कार्यकारिणी की बैठक में भी सर्वसम्मति से प्रस्ताव पास हुआ कि वे आगामी विधानसभा चुनाव में खुद चुनाव लड़ें। साथ ही साथ, कार्यकर्ताओं की यह भी भावना है कि इस बार वे किसी आरक्षित सीट से नहीं, बल्कि एक सामान्य सीट से चुनाव लड़ें।