संगीत जगत के दिग्गज और मशहूर तबला वादक उस्ताद जाकिर हुसैन का 73 वर्ष की आयु में निधन हो गया है। परिवार ने इस दुखद खबर की पुष्टि की है। जाकिर हुसैन पिछले दो हफ्तों से हृदय संबंधी समस्याओं के चलते अमेरिका के सैन फ्रांसिस्को में अस्पताल में भर्ती थे। उनकी तबीयत बिगड़ने पर उन्हें आईसीयू में ले जाया गया था, जहां सोमवार तड़के उन्होंने अंतिम सांस ली।
परिवार के मुताबिक, उनका निधन इडियोपैथिक पल्मोनरी फाइब्रोसिस के कारण हुई जटिलताओं की वजह से हुआ। इससे पहले परिवार ने उनके निधन की खबरों का खंडन किया था।
संगीत के सितारे
उस्ताद जाकिर हुसैन को संगीत के क्षेत्र में उनके अतुलनीय योगदान के लिए चार ग्रैमी पुरस्कार मिले थे। इनमें से तीन पुरस्कार इस वर्ष की शुरुआत में 66वें ग्रैमी अवॉर्ड्स में प्राप्त हुए थे। छह दशक लंबे करियर में उन्होंने भारतीय और अंतरराष्ट्रीय कलाकारों के साथ मिलकर कई ऐतिहासिक प्रस्तुतियां दीं।
सम्मान और पुरस्कार
भारत के सबसे प्रसिद्ध शास्त्रीय संगीतकारों में से एक, जाकिर हुसैन को 1988 में पद्म श्री, 2002 में पद्म भूषण और 2023 में पद्म विभूषण जैसे प्रतिष्ठित सम्मान प्रदान किए गए थे।
अपूरणीय क्षति
उस्ताद जाकिर हुसैन का निधन भारतीय शास्त्रीय संगीत और विश्व संगीत समुदाय के लिए एक अपूरणीय क्षति है। उनका योगदान आने वाली पीढ़ियों के लिए प्रेरणा का स्रोत बना रहेगा।