बढ़ते प्रदूषण के खिलाफ़ जेएसपीसीबी का बड़ा एक्शन, अब शहर में नही लगेंगे हाईकोक उद्योग

Anupam Kumar
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धनबाद: 2011 में धनबाद में बढ़ते प्रदूषण को देखते हुए केंद्रीय वन एवं पर्यावरण मंत्रालय ने बड़ा एक्शन लेते हुए किसी भी तरह के नए उद्योग लगाने पर रोक लगा दी थी। 12 वर्ष बाद एक बार फिर से वही स्थिति बन गई है। धनबाद में बढ़ते प्रदूषण को देखते हुए झारखंड राज्य प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने एक्शन लेते हुए शहर में हाईकोक और साफ्ट कोक उद्योग लगाने पर रोक लगा दी है। ऐसे इकाइयों को बोर्ड की और से कंसेट टू इस्टेबलिशमेंट (सीटीई) यानी स्थापना करने की सहमति नहीं दी जाएगी। यह निर्देश एक अक्टूबर से प्रभावी हो जाएंगे। साथ ही बोर्ड ने यह भी स्पष्ट कर दिया है कि केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के एयर क्वालिटी इंडेक्स के मानक के अनुसार स्थिति सामान्य होने तक यह रोक लागू रहेगी।
बता दें कि इसमें यह भी कहा गया है कि 30 सितंबर तक आनलाइन कंसेंट मैनेजमेंट सिस्टम के माध्यम से समर्पित ऐसे सीटीई आवेदन जो सभी प्रकार से पूर्ण होंगे, उन्हीं पर विचार किया जाएगा। 30 सितंबर तक मिले आवेदन में किसी भी प्रकार की त्रुटि होने पर आवेदन रद कर दिया जाएगा। इस तिथि के बाद यानी एक अक्टूबर से किसी भी आवेदन पर विचार नहीं किया जाएगा। मालूम हो कि चली
धनबाद में 120 हार्डकोक और 150 साफ्ट कोक उद्योग संचालित हैं। इसके साथ ही एक पावर प्लांट और 94 स्टोन क्रशर भी हैं। 2011 में रोक के बाद 50 से अधिक उद्योग बंद हो गए। बरसात के करण इस समय धनबाद का औसत एयर क्वालिटी इंडेक्स 80.19 है।
वहीं इस मामले में जेएसपीसीबी के क्षेत्रीय पदाधिकारी रामप्रवेश कुमार ने कहा कि बढ़ते प्रदूषण के कारण जेएसपीसीबी ने धनबाद में एक अक्टूबर से हार्डकोक एवं सापट कोक उद्योगी के लिए कसेट इस्टैबलिशमेंट (सीटीई) पर रोक लगा दी है। सामान्य स्थिति होने पर बोर्ड आगे विचार करेगा।

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