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मधुपुर में मतदान पदाधिकारी गिरफ्तार: झामुमो के पक्ष में वोटिंग कराने का आरोप

झारखंड विधानसभा चुनाव के दूसरे चरण के दौरान मधुपुर में मतदान प्रक्रिया पर एक गंभीर विवाद सामने आया है। मधुपुर विधानसभा सीट के बूथ नंबर 111 पर तैनात मतदान पदाधिकारी रामानंद पासवान को झामुमो (झारखंड मुक्ति मोर्चा) के पक्ष में वोटिंग करवाने के आरोप में गिरफ्तार किया गया है। मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी ने इस कार्रवाई की पुष्टि की है।

निशिकांत दुबे का आरोप

गोड्डा के भाजपा सांसद निशिकांत दुबे ने इस घटना को उजागर करते हुए आरोप लगाया था कि मतदान कर्मी बूथ नंबर 111 पर झामुमो उम्मीदवार हफीजुल हसन के पक्ष में मतदाताओं से वोट डलवा रहे थे। दुबे ने यह भी दावा किया कि बूथ संख्या 111 और 112 पर प्रोजाइडिंग ऑफिसर की मदद से 10 साल के बच्चे से वोटिंग करवाई जा रही थी।

सांसद निशिकांत दुबे ने इस मामले की जानकारी ट्वीट के माध्यम से चुनाव आयोग को दी। उनके अनुसार, आयोग ने तुरंत संज्ञान लेते हुए आरोपी मतदान अधिकारी के खिलाफ कार्रवाई की और उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया। दुबे ने चुनाव आयोग की त्वरित कार्रवाई की सराहना करते हुए धन्यवाद भी दिया।

झामुमो का खंडन

झामुमो ने इन आरोपों को सिरे से खारिज किया है। पार्टी ने इसे भाजपा द्वारा फैलाया गया प्रोपेगैंडा बताया और कहा कि यह चुनाव प्रक्रिया को बदनाम करने की साजिश है। JMM ने पोस्ट कर लिखा हैं यह अहंकारी आदमी पहले भाजपा के कार्यकर्ताओं पर आरोप लगाता है, फिर पदाधिकारी पर।दुबे जी, कॉरपोरेट की कोई दलाली झारखण्ड में काम आने नहीं दी जाएगी।

वोटिंग के बीच अपील

इस विवाद के बीच गोड्डा सांसद निशिकांत दुबे और उनकी पत्नी अनु दुबे ने देवघर के बीएड कॉलेज मतदान केंद्र पर अपने मताधिकार का प्रयोग किया। वोट डालने के बाद निशिकांत दुबे ने जनता से अधिक संख्या में मतदान करने की अपील की। उन्होंने कहा कि वोट देना हर नागरिक का अधिकार है और इससे बेहतर लोकतांत्रिक प्रक्रिया को मजबूत किया जा सकता है।

कम मतदान पर चिंता

सांसद की पत्नी अनु दुबे ने शहरी क्षेत्रों में कम मतदान प्रतिशत पर चिंता जताई। उन्होंने ग्रामीण क्षेत्रों के लोगों की सक्रियता की सराहना करते हुए शहरी मतदाताओं से बड़ी संख्या में घरों से बाहर निकलकर मतदान करने का आग्रह किया।

मामले पर नजर

इस घटना ने झारखंड चुनावों की पारदर्शिता और निष्पक्षता पर सवाल खड़े किए हैं। चुनाव आयोग की ओर से आगे की कार्रवाई पर सबकी नजरें टिकी हैं। वहीं, झामुमो और भाजपा के बीच तीखी बयानबाजी इस विवाद को और गहराने की ओर इशारा कर रही है।

KK Sagar
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