
बिहार: बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने पीएमसीएच की बदहाली देखकर अधीक्षक डॉ. आइएस ठाकुर को जमकर फटकार लगाई।
दअरसल, मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पटना लॉ कॉलेज घाट के पास बन रहे राष्ट्रीय डाल्फिन अनुसंधान केंद्र का
निरीक्षण करने जा रहे थे। इसके लिए उन्होंने जेपी गंगा पथ से पीएमसीएच होते हुए वहां जाने का मार्ग चुना।
उद्देश्य था ड्रीम प्रोजेक्ट 5,462 बेड के दुनिया के दूसरे सबसे बड़े अस्पताल पीएमसीएच के पुनर्विकास कार्य को भी देख लेना। उनके स्वागत के लिए मुख्य इमरजेंसी के पास सुरंगनुमा संकरे मार्ग के पास प्राचार्य डॉ. विद्यापति चौधरी उनके स्वागत में खड़े थे, परंतु कारवां यहां नहीं रुका।
ऊबड़-खाबड़ सुरंगनुमा रास्ते से मेडिसिन स्टोर, कैंसर विभाग के सामने से होते ही वे जैसे ही शिशु (पीडियाट्रिक) व स्त्री एवं प्रसूति रोग विभाग (गायनेकोलाजी डिपार्टमेंट ) के पास पहुंचे तो स्वागत में खड़े अधीक्षक डॉ. आइएस ठाकुर, उपाधीक्षक डॉ. अभिषेक बासुकि व अन्य लोग दिख गए।
अस्पताल की बदहाली से गुस्साए मुख्यमंत्री नीतीश कुमार वाहन से उतरे ही अधीक्षक को फटकार लगा दिया।
सीएम ने कहा कि अस्पताल ऐसा होता है? जेपी गंगा पथ व मुख्य इमरजेंसी से सीधे आने वाले नए बने सिंगल लेन मार्ग को दिखाकर बोले, इतना संकीर्ण रास्ता होता है अस्पताल का? इससे मरीज व अन्य वाहन एकसाथ कैसे आ-जा सकेंगे। इसे तुरंत ठीक कराने के निर्देश दिए।
हालांकि, अधीक्षक ने निर्माण कंपनी एलएनटी पर इसका दोष मढ़ दिया। बताते चलें कि गत 15 दिसंबर को मुख्यमंत्री पीएमसीएच के निर्माण कार्यों का निरीक्षण करने आए थे, तब उन्होंने गंगा पाथ-वे से बेहतर कनेक्टिवटी जल्द उपलब्ध कराने का निर्देश दिया था।
वहीं,मुख्यमंत्री के गुस्से को देखते हुए अधीक्षक ने बुधवार से ही नए बने सीधे रास्ते को शुरू करने की बात कही है। यह रास्ता शिशु रोग की ओर से तैयार है लेकिन बैरिकेडिंग के कारण मुख्य इमरजेंसी के सामने करीब चार फुट में अभी ढलाई नहीं हुई है। माना जा रहा है कि इसे अभी ऐसे ही शुरू करा दिया जाएगा।