दी आर्ट ऑफ लिविंग की वैदिक धर्म संस्थान ने कराया सामूहिक रूद्र पूजा

Anupam Kumar
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धनबाद : दी आर्ट ऑफ लिविंग की वैदिक धर्म संस्थान द्वारा रविवार को राजकमल सरस्वती विद्यामंदिर स्कूल में सामूहिक रूद्र पूजा का आयोजन किया गया।वैदिक धर्म संस्थान परम पूज्य श्री श्री रविशंकर जी से प्रेरित एक सार्वजनिक धर्मार्थ, धार्मिक, आध्यात्मिक, शैक्षिक संस्था है। यह भारतीय संस्कृति और शैक्षिक विरासत की उन्नति के लिए काम करता है और बड़े पैमाने पर लोगों के सामाजिक सांस्कृतिक शैक्षिक और आध्यात्मिक विकास को बढ़ावा देता है।

मौके पर धनबाद आर्ट ऑफ लिविंग ब्यूरो ऑफ कम्युनिकेशन मीडिया प्रभारी मयंक सिंह ने बताया कि प्रत्येक वर्ष के सावन महीने में वैदिक धर्म संस्थान बैंगलोर के तले संस्था द्वारा देश भर में रुद्राभिषेक कराया जाता है। रविवार को राजकमल सरस्वती विद्यामंदिर स्कूल में श्री रुद्रम के पवित्र वैदिक मंत्रोच्चार के बीच सामुहिक रुद्र पूजा का आयोजन किया गया, जहां भगवान शिव की दूध, दही, शहद, घी के साथ रुद्र के रूप में पूजा हुई। जिसमें आश्रम से पधारे ब्रह्मचारी श्री अभय जी एवं वेदाचार्य स्नेहाशीष एवं अर्पित दुबे जी के द्वारा वैदिक मंत्रोच्चार के साथ शिवजी का अभिषेक किया गया।

वहीं ब्रह्मचारी अभय ने बताया रूद्र पूजा का प्रभाव हमारी चेतना और वातावरण दोनों पर पड़ता है। यह पूजा सिर्फ व्यक्ति विशेष के लिए ही नहीं अपितु पूरे परिवार समाज व राष्ट्र के लिए प्रभावशाली है। रूद्र पूजा में विशेष महत्व ध्यान और संकल्प का होता है जिसमें श्रावण मास इसके लिए सर्वोत्तम माना जाता है। बताया गया कि ध्यान के द्वारा सभी नकारात्मकताऐं सकारात्मकता में बदलती है। संकल्प से मनोवांछित कामना की पूर्ति होती है।

अनुष्ठान में आर्ट ऑफ लिविंग के वैदिक धर्म संस्था धनबाद कोऑर्डिनेटर गौरी शंकर, मेधा दुदानी, वरिया प्रशिक्षिका सोनाली सिंह, अनुप्रिया गुप्ता चिल्ड्रन टींस झारखंड स्टेट कोऑर्डिनेटर मयंक सिंह की विशेष भागीदारी रहीं साथ ही साथ इस आयोजन को सफल बनाने में विनोद तुलसीयान, प्राचार्य सुमंत मिश्रा, प्रीति लोहानी, शरद अग्रवाल, सुभाष अग्रवाल, किरण अग्रवाल, सोनी, जुही, क्षितिज, रित्विक, अनिल कुमार, प्रियंका, नीतीश, अपर्णा आदि का महत्वपूर्ण योगदान रहा। साथ ही सैकड़ों की संख्या में राजकमल सरस्वती विद्या मंदिर लोगों ने पूरी आस्था एवं भक्ति भाव से सम्मिलित हुए। सामूहिक लिंगम मंत्र के उच्चारण के साथ एक-एक करके शिवजी की भजन प्रस्तुति किया। सभी आए शिव भक्तों को प्रसाद के रूप मे फल, फूल और मिठाइ की प्राप्ति हुई। संकल्प प्रार्थीयों को पंच मुखी रुद्राक्ष प्रसाद रूपी प्रदान हुआ। राजकमल स्कूल में पूरे धनबाद से भारी संख्या में जमा हुए। भक्तों ने पूजा के दौरान संकल्प भी लिया। ऐसा माना जाता है कि विशेष रूप से श्रावण के महीने में रुद्र पूजा में बैठने से सकारात्मकता का उदय होता है, भय दूर होता है और सुख का उदय होता है। शिव को समुद्र मंथन से विष लेने के लिए जाना जाता है, उसी तरह रुद्र पूजा करते समय अपने और आसपास के वातावरण के सभी नकारात्मकता को दूर कर देती है।कार्यक्रम में उपस्थित सभी लोग वेद मंत्रों में डूब गए और शिव भजनों पर नृत्य किया और बहुत आनंद का अनुभव किया।

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