मिरर मीडिया : ED द्वारा की जा रही कार्रवाई को लेकर सुप्रीम कोर्ट का एक बड़ा फैसला आया है। मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट के प्रावधानों को चुनौती देने वाली कांग्रेस नेता कार्ति चिदंबरम, एनसीपी नेता अनिल देशमुख और अन्य की तरफ से आई करीब 242 अपील पर आज सुप्रीम कोर्ट अपना फैसला सुनाया।
आपको बता दें कि PMLA (प्रिवेंशन ऑफ मनी लॉड्रिंग एक्ट) के तहत ED द्वारा की गई गिरफ्तारी, जब्ती और जांच की प्रक्रिया को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर सुप्रीम कोर्ट ने बड़ा फैसला सुनाते हुए कहा है कि इस एक्ट के तहत किसी आरोपी की गिरफ्तारी गलत नहीं है। लिहाजा ईडी जांच प्रक्रिया में जरूरत पड़ने पर किसी की गिरफ्तारी कर सकती है। वहीं सर्वोच्च न्यायालय ने कहा ED गिरफ्तारी के समय इसके आधार का खुलासा करता है तो ये पर्याप्त है।
इसलिए बाबत SC का कहना है कि मामले की सूचना रिपोर्ट (ईसीआईआर) को एफआईआर के साथ नहीं जोड़ा जा सकता है और ईसीआईआर प्रवर्तन निदेशालय का एक आंतरिक दस्तावेज है। सुप्रीम कोर्ट का कहना है कि आरोपी को ईसीआईआर देना अनिवार्य नहीं है और गिरफ्तारी के दौरान कारणों का खुलासा करना ही काफी है।