डिजिटल डेस्क। मिरर मीडिया:CAA को लेकर गृह मंत्री अमित शाह ने दिया बयान: लोकसभा चुनाव से ठीक पहले केंद्र सरकार द्वारा नागरिकता संशोधन कानून (CAA) को लागू करने के बाद देशभर में सियासी हलचल तेज है। विपक्षी पार्टियां सरकार पर जोरदार निशाना साध रही हैं। इसी बीच गुरूवार को गृह मंत्री अमित शाह ने सीएए को लेकर बड़ा बयान दिया है।
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CAA में मुस्लमानों को ना शामिल करने की बताई यह वजह
गृह मंत्री ने सीएए में मुसलमानों को शामिल नहीं करने को लेकर कहा कि पाकिस्तान, अफगानिस्तान और बांग्लादेश इस्लामी राज्य हैं और यहां मुस्लिमों की संख्या अधिक है। ऐसे में फिर वहां के मुस्लमान धार्मिक अल्पसंख्यक कैसे हो सकते हैं?हालांकि, उन्होंने कहा कि यदि वे अभी भी भारतीय नागरिकता चाहते हैं, तो वे संवैधानिक तरीकों से इसके लिए आवेदन कर सकते हैं।
छठी अनुसूची के क्षेत्रों में नही लागू होगा CAA
गृह मंत्री ने कहा कि CAA आदिवासी क्षेत्रों की संरचना और अधिकारों को कमजोर नहीं करेगा। उन्होंने कहा कि हमने अधिनियम में ही प्रावधान किए हैं कि जहां भी Inner Line Permit है और जो भी क्षेत्र छठी अनुसूची क्षेत्रों में शामिल हैं, वहां CAA लागू नहीं होगा।
विपक्ष को लगाई फटकार
अमित शाह ने विपक्ष पर निशाना साधते हुए कहा कि विपक्ष को भी मालूम है कि INDI एलायंस सत्ता में नहीं आने वाला है। CAA के कानून को प्रधानमंत्री मोदी जी के नेतृत्व में भाजपा सरकार लाई है, इसे रद्द करना असंभव है। शाह ने कहा कि नागरिकता केंद्र का मुद्दा है और सीएए को कोई राज्य सरकार रद्द नहीं कर सकती। इसलिए ये सभी विपक्षी लोग सिर्फ बयानबाजी कर रहे हैं। शाह ने कहा कि मैं ममता बनर्जी को खुली चुनौती देता हूं कि इस कानून में किसी की नागरिकता छीनने वाली एक धारा भी हो तो वो बता दें। उन्होंने कहा कि ममता केवल खौफ पैदा कर रही हैं, हिंदू और मुसलमानों के बीच विवाद कराना चाहती हैं।
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