अखबारी बयानबाजी करके प्राइवेट स्कूलों को बरगला रहे है वित्त मंत्री रामेश्वर उरांव : जवाब दें कि निजी स्कूलों के लिए क्या किया? – इरफान खान
मिरर मीडिया : 23 माह से बंद पड़े लगभग डेढ़ लाख निजी विद्यालयों के शिक्षकों कर्मियों को राहत पैकेज उपलब्ध कराए जाने सहित स्कूल खोले जाने की मांग को लेकर स्वतंत्र राष्ट्रवादी पार्टी के प्रदेश महासचिव इरफान खान ने झारखंड सरकार के वित्त मंत्री रामेश्वर उरांव को कठघरे में लेते हुए पर यह आरोप लगाया कि पिछले 23 महीने से सरकार द्वारा यू डाइस प्राप्त निजी विद्यालय बंद रहने के कारण कार्यरत सभी शिक्षक, कर्मचारीऔर स्कूल संचालक भुखमरी के कगार पर हैं कई शिक्षक मौत के मुंह में समा गए हैं उसके बावजूद भी वित्त मंत्री रामेश्वर उरांव द्वारा निजी विद्यालय के शिक्षकों को किसी भी तरह का राहत पैकेज झारखंड सरकार द्वारा उपलब्ध नहीं कराया है।
वहीं उन्होंने कहा है कि मात्र अखबारी बयानबाजी करके प्राइवेट स्कूलों को बरगला रहे है जबकि विगत 3 माह पहले वित्त मंत्री के द्वारा रांची के सभागार में निजी विद्यालयों का संगठन पासवा के द्वारा शिक्षक सम्मान समारोह में उन्होंने साफ तौर पर कहा था कि निजी विद्यालय है तो बच्चों को झारखंड में अच्छी शिक्षा मिल रही है साथ ही उन्होंने यह भी कहा था कि यू डाइस प्राप्त निजी विद्यालयों को आरटीई के तहत कक्षा 1 से 8 के लिए मान्यता के नियम में संशोधन कर सभी स्कूलों को मान्यता दिलाई जाएगी परंतु उसके बावजूद भी अभी तक न तो आरटीई नियम में किसी तरह की संशोधित हुआ नहीं किसी विद्यालय को मान्यता मिली और ना ही किसी तरह की राहत पैकेज दी गई जबकि पूरे झारखंड में लगभग डेढ़ लाख निजी विद्यालय,प्ले स्कूल हैं और उनके पीछे लगभग 25 लाख परिवार जुड़ा हुआ है।
बल्कि उन्होंने अपनी सरकार से मिलकर कक्षा आठवीं बोर्ड में या आदेश निकलवा दिए थे कि जो निजी विद्यालय आरटीई के तहत मान्यता नहीं लेंगे उनके विद्यालय के बच्चे कक्षा आठवीं बोर्ड परीक्षा-2022 में शामिल नहीं होंगे वह तो निजी विद्यालयों का संगठन झारखंड प्राइवेट स्कूल एसोसिएशन के प्रदेश महासचिव ने इस आदेश के खिलाफ हाई कोर्ट का दरवाजा खटखटाया वहां से फिर सभी विद्यालयों को बच्चों का कक्षा आठवीं बोर्ड में शामिल करने का आदेश हुआ।क्या वित्त मंत्री निजी विद्यालयों के संगठन पासवा के शिक्षक सम्मान समारोह में जो बयान दिए थे वह सिर्फ दिखावा था।
स्वतंत्र राष्ट्रवादी पार्टी के प्रदेश महासचिव इरफान खान ने उनसे यह मांग की है कि 23 माह से बंद पड़े लगभग डेढ़ लाख निजी विद्यालयों के शिक्षकों कर्मियों को जल्द से जल्द राहत पैकेज झारखंड सरकार द्वारा उपलब्ध कराई जाए और तत्काल सभी सरकारी,गैर सरकारी, प्राइवेट स्कूलों को खोलने और नर्सरी से बारहवीं की पढ़ाई-लिखाई शुरू करने हेतु ईमानदारी से मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन पर दबाव बढ़ाये अन्यथा पासवा के कार्यक्रमो,बैठकों में बयानबाजी बंद करें और वित्तमंत्री के पद से इस्तीफा दे अन्यथा स्वतंत्र राष्ट्रवादी पार्टी पूरे झारखंड में चरणबद्ध आंदोलन करने के लिए मजबूर होगी।